पुरानी बातो की शराब करने लग गई हूं,
बड़ी बेशर्म में उनकी सुबह खराब करने लग गई हूं,
एक उनका लहजा ही काफी है मरहूम को,
बड़ी बेअदब में खुद को दफनाने लग गई हूं।

Hindi Shayri by Arjun Rajput : 111307079

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