अनाम रिश्ते

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अनाम रिश्ते कार्तिकेय को घर लौटने में निरंतर आवश्यकता से अधिक देरी होने पर न जाने क्यों, कुछ दिनों से करीना को अत्यंत क्रोध आने लगा था । उसके टोकने पर अतिआवश्यक मीटिंग में फँस गया था, कहकर कार्तिकेय करीना के क्रोध को कुछ क्षणों के लिये दूर तो अवश्य कर देता था किन्तु फिर से वही स्थिति आने पर वह बेकाबू होने लगती थी जबकि वह जानती थी कि कार्तिकेय का काम ही ऐसा है जिसमें देर सबेर होना आम बात है लेकिन पिछले कुछ दिनों से जीवन में छाया अकेलापन, सूनापन उसके मनमस्तिष्क पर छा कर उसे अनमना कर